भारत और चीन के बीच वर्ष 2001 से व्यापार बढ़ा है, जिसमें आर्थिक कूटनीति ने आपसी संबंधों को आगे बढ़ाने में प्रेरक शक्ति का काम किया है। भारतीय वाणिज्य मंत्रालय के आंकङों के अनुसार, इन आर्थिक क्रियाकलापों का केंद्र-बिंदु व्यापार ही है। लेकिन व्यापारिक रिश्ते भारत के पक्ष में नहीं हैं और चीन के साथ बढ़ते हुए व्यापारिक घाटे ने भारत के लिए सूक्ष्म-व्यापारिक जटिलताएं पैदा कर दी हैं, जिसके कारण व्यापार के क्षेत्र में चीनी आयातों पर प्रतिबंध बढ़ता जा रहा है।
© 2019 ICS All rights reserved.
Powered by Matrix Nodes